चाहत यही कि हर बंधन से आजाद हो जाऊँ
लेकिन सिर्फ जंजीरों से मुक्त होना ही आजादी नहीं होती
आजादी कुछ ऐसी हो कि ,हर आजादी का सम्मान हो संवर्धन हो
क्यों कोई किसी पर निर्भर हो
हर व्यक्ति आजाद हो
आजादी अनमोल है
जीवन का अर्थ ही आजादी है
फिर भला कोई स्वतंत्र क्यों ना हो
आजादी का कोई मोल नहीं
फिर भी हम हर कीमत चुकाएंगे
जहां एक मौका मिले, जहां शुरुआत हो
स्वतंत्रता ,एक बेहतर कल की
मेरी आजादी मेरा हक है
मेरी आजादी मेरा स्वाभिमान है
एक सपने को मुमकिन कर,एक सपने को हमने पाला है
यह कोई ख्वाब नहीं मेरा स्वाभिमान ही मेरी आजादी है
विचारों से, स्वभाव से ,मन से, लालच से, गुरुर से, लोभ से
तब जाकर कहीं हम इस धरती पर एक दिन स्वर्ग बनाएंगे
और सही मायनों में आजाद कहलाएंगे

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